Journal of Advances in Developmental Research

E-ISSN: 0976-4844     Impact Factor: 9.71

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मौर्यकालीन अभिलेखों में सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक जीवन का चित्रण

Author(s) Bhanu Prakash Soni
Country India
Abstract इतिहास के अध्ययन में अनेक स्त्रोत महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, और इनमें अभिलेखों का स्थान विशिष्ट है। अभिलेख वह लिखित सामग्री है जो पाषाण खंड, स्तंभ, ताम्रपत्र, धर्मस्थल, मुद्रा, देवालय, राजमहल आदि पर उत्कीर्ण की गई होती है। यह किसी भी क्षेत्र के राजनीतिक, धार्मिक, सांस्कृतिक और सामाजिक पहलुओं का मूक साक्षी होता है। अभिलेखों की विशेषता यह है कि इनमें दी गई जानकारी को प्रामाणिक और ऐतिहासिक रूप से सटीक माना जाता है, क्योंकि इनमें राजाओं की उपलब्धियों, वंशावलियों, दानशीलता, विजयोत्सव, और अन्य महत्वपूर्ण घटनाओं का विवरण मिलता है। भारतीय इतिहास में पहली बार मौर्यकाल में सम्राट अशोक ने अभिलेख उत्कीर्ण करवाए। इसके बाद गुप्तकाल, शुंग वंश, कुषाण वंश आदि के समय में भी अभिलेखों का निर्माण जारी रहा। इन अभिलेखों ने मानव जीवन के विविध पहलुओं को सजीव रूप में प्रस्तुत किया है। इनमें प्राचीन भारतीय समाज के धार्मिक, आर्थिक, राजनीतिक, और सांस्कृतिक जीवन की झलक मिलती है, जो प्राचीन काल के मानव जीवन को समझने में सहायक है।
सम्राट अशोक के अभिलेख भारतीय इतिहास के सबसे प्रामाणिक और तिथियुक्त अभिलेख माने जाते हैं। ये शिलाओं, स्तंभों और गुहाओं में उत्कीर्ण किए गए थे। इनकी भाषा मुख्यतः प्राकृत (पाली) थी और ब्राह्मी लिपि में लिखे गए थे। हालांकि, शाहबाजगढ़ी और मानसेहरा (पश्चिमोत्तर प्रांत) से प्राप्त अभिलेख खरोष्ठी लिपि में हैं, जबकि तक्षशिला और लमगान (अफगानिस्तान) के अभिलेख अरेमाइक लिपि में पाए गए। कंधार (अफगानिस्तान) में एक विशेष अभिलेख यूनानी और अरेमाइक, दोनों भाषाओं में लिखा गया था।
अशोक के ये अभिलेख आधुनिक बांग्लादेश, भारत, अफगानिस्तान, पाकिस्तान और नेपाल के विभिन्न स्थलों पर पाए गए हैं। इन अभिलेखों में मानव जीवन की गहराई और विविधता को दर्शाया गया है। ये सामाजिक व्यवस्था, धार्मिक सुधार, राजनीतिक दृष्टिकोण और आर्थिक संरचनाओं की जानकारी प्रदान करते हैं, जो उस समय के मानव जीवन का समग्र चित्रण प्रस्तुत करते हैं।
Keywords अभिलेख, ताम्रपत्र, राजवंश, स्त्रोत, स्मारक, लिपि, देवालय।
Field Arts
Published In Volume 16, Issue 1, January-June 2025
Published On 2025-01-20
Cite This मौर्यकालीन अभिलेखों में सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक जीवन का चित्रण - Bhanu Prakash Soni - IJAIDR Volume 16, Issue 1, January-June 2025.

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